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- स्वाधार गृह (विषम परिस्थितियों वाली महिलाओं के लिए एक योजना)
- विवरण
- फ़ायदे
- पात्रता
- अपवाद
- आवेदन प्रक्रिया
- आवश्यक दस्तावेज़
- अधिकतर पूछे जाने वाले सवाल
- स्रोत और संदर्भ
- प्रतिपुष्टि
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महिला एवं बाल विकास मंत्रालय
स्वाधार गृह (विषम परिस्थितियों वाली महिलाओं के लिए एक योजना)
विवरण
लाभार्थी
- बेसहारा, एवं किसी सामाजिक एवं आर्थिक सहायता से वंचित महिलाएं।
- प्राकृतिक आपदाओं में जीवित बची, एवं किसी सामाजिक एवं आर्थिक सहायता से वंचित महिलाएं;
- जेल से रिहा महिलाएं, एवं किसी सामाजिक एवं आर्थिक सहायता से वंचित महिलाएं।
- घरेलू हिंसा, पारिवारिक तनाव या कलह की शिकार होने वाली महिलाएं, जिन्हें अपना घर छोड़ना पड़ा हो और जिनके पास जीवननिर्वाह का कोई साधन न हो, एवं जिन्हें वैवाहिक विवादों के कारण उत्पीड़न से कोई विशेष सुरक्षा न हो और/या मुकदमेबाजी का सामना करना पड़ रहा हो, और
- मानव तस्करी की शिकार तथा छुड़ाई गई, या वेश्यालयों या अन्य ऐसे स्थानों से भागी हुई महिलाएं/ बालिकाएं, जहां उनका शोषण होता हो एवं एच.आई.वी./एड्स से प्रभावित महिलाएं जिन्हें कोई सामाजिक या आर्थिक सहायता प्राप्त न हो। हालांकि ऐसी महिलाओं/ बालिकाओं को उन क्षेत्रों में पहले उज्ज्वला योजना के अंतर्गत सहायता लेनी चाहिए जहां यह संचालित है।
- घरेलू हिंसा से प्रभावित महिलाएं एक वर्ष तक रह सकती हैं। अन्य श्रेणियों की महिलाओं के लिए अधिकतम ठहराव अवधि 3 वर्ष तक की हो सकती है। 55 वर्ष से अधिक आयु की वृद्ध महिलाओं को अधिकतम 5 वर्ष की अवधि के लिए समायोजित किया जा सकता है, जिसके पश्चात उन्हें वृद्धाश्रम या ऐसे ही संस्थानों में स्थानांतरित किया जाएगा।
उद्देश्य
- संकटग्रस्त, तथा किसी भी सामाजिक एवं आर्थिक सहायता से वंचित महिलाओं के लिए आवास, भोजन, वस्त्र, चिकित्सा उपचार एवं उनकी देखभाल की प्राथमिक आवश्यकताएं पूरी करना।
- दुर्भाग्यपूर्ण परिस्थितियों का सामना करने के कारण बाधित भावनात्मक सुदृढ़ता को पुनः प्राप्त करने में उन्हें सक्षम बनाना।
- परिवार/समाज में उनके पुनर्समायोजन के लिए उन्हें कदम उठाने हेतु सक्षम बनाने के लिए विधिक सहायता एवं मार्गदर्शन प्रदान करना।
- उनका आर्थिक एवं भावनात्मक पुनर्वास करना।
- संकटग्रस्त महिलाओं की विभिन्न आवश्यकताओं को समझने एवं उन्हें पूरा करने वाली एक सहायक प्रणाली के रूप में कार्य करना।
- उन्हें गरिमा एवं आत्मबल के साथ अपने जीवन को नए सिरे से शुरू करने में सक्षम बनाना।
कार्यनीतियां
- भोजन, वस्त्र, चिकित्सा सुविधाओं आदि के प्रावधान के साथ अस्थायी आवासीय सुविधा।
- ऐसी महिलाओं के आर्थिक पुनर्वास के लिए व्यावसायिक एवं कौशल उन्नयन प्रशिक्षण।
- परामर्श, जागरूकता सृजन एवं व्यवहार प्रशिक्षण।
- विधिक सहायता एवं मार्गदर्शन
- टेलीफोन द्वारा परामर्श
फ़ायदे
- घरेलू हिंसा से प्रभावित महिलाएं एक वर्ष तक रह सकती हैं।
- अन्य श्रेणियों की महिलाओं के लिए अधिकतम ठहराव अवधि 3 वर्ष तक की हो सकती है।
- 55 वर्ष से अधिक आयु की वृद्ध महिलाओं को अधिकतम 5 वर्ष की अवधि के लिए समायोजित किया जा सकता है, जिसके पश्चात उन्हें वृद्धाश्रम या ऐसे ही संस्थानों में स्थानांतरित किया जाएगा।
- उपरोक्त श्रेणियों वाली महिलाओं के साथ उनके बच्चे भी स्वाधार गृह की सुविधाओं का लाभ उठा सकते हैं।
- 18 वर्ष की आयु तक की बालिकाओं एवं 8 वर्ष की आयु तक के बालकों को
- स्वाधार गृह में उनकी माताओं के साथ रहने की अनुमति होगी। (8 वर्ष से अधिक उम्र के बालकों को
- जे.जे. अधिनियम/आई.सी.पी.एस. के अंतर्गत संचालित बाल गृहों में स्थानांतरित किया जाएगा।)
आवास के अलावा अन्य प्रकार की सेवाएं
- विधिक सेवाएं
- व्यवसायिक प्रशिक्षण
- चिकित्सकीय सुविधाएं
- परामर्श
पात्रता
- घरेलू हिंसा से प्रभावित महिलाएं एक वर्ष तक रह सकती हैं।
- अन्य श्रेणियों की महिलाओं के लिए अधिकतम ठहराव अवधि 3 वर्ष तक की हो सकती है।
- 55 वर्ष से अधिक आयु की वृद्ध महिलाओं को अधिकतम 5 वर्ष की अवधि के लिए समायोजित किया जा सकता है, जिसके पश्चात उन्हें वृद्धाश्रम या ऐसे ही संस्थानों में स्थानांतरित किया जाएगा।
- उपरोक्त श्रेणियों वाली महिलाओं के साथ उनके बच्चे भी स्वाधार गृह की सुविधाओं का लाभ उठा सकते हैं।
- 18 वर्ष की आयु तक की बालिकाओं एवं 8 वर्ष की आयु तक के बालकों को उनकी माताओं के साथ स्वाधार गृह में रहने की अनुमति होगी। (8 वर्ष से अधिक आयु के बालकों को जे.जे. अधिनियम/आई.सी.पी.एस. के अंतर्गत संचालित बाल गृहों में स्थानांतरित किया जाना होगा।
अपवाद
आवेदन प्रक्रिया
- स्वयं;
- किसी लोकहित प्रेरित नागरिक, लोक सेवक (भारतीय दंड संहिता, 1860 की धारा 21 के अंतर्गत परिभाषित), संबंधी, मित्र, गैर सरकारी संगठन, स्वयंसेवक आदि सहित किसी व्यक्ति के माध्यम से।
- पुलिस, एम्बुलेंस एवं अन्य आपातकालीन प्रतिक्रिया हेल्पलाइन के साथ एकीकृत महिला हेल्पलाइन के माध्यम से।
आवश्यक दस्तावेज़
अधिकतर पूछे जाने वाले सवाल
किस प्रकार की कानूनी सहायता प्रदान की जाती है?
लाभार्थियों की कानूनी सहायता आवश्यकताओं को जिला कानूनी सेवा प्राधिकरण (डी.एल.एस.ए.) के माध्यम से पूरा किया जाएगा। यदि डी.एल.एस.ए. से ऐसी सहायता उपलब्ध नहीं है, तो कार्यान्वयन करने वाला संगठन वैकल्पिक उपयुक्त कानूनी सहायता की व्यवस्था करेगा।
एक सेवा के रूप में व्यावसायिक प्रशिक्षण का क्या अर्थ है?
श्रम एवं रोजगार मंत्रालय के अंतर्गत रोजगार एवं प्रशिक्षण महानिदेशालय द्वारा मान्यता प्राप्त व्यावसायिक प्रशिक्षण संस्थानों के माध्यम से महिलाओं को व्यावसायिक प्रशिक्षण प्रदान करने की व्यवस्था कार्यान्वयन संगठन द्वारा की जाएगी।
सेवा के रूप में किस प्रकार की चिकित्सा सुविधाएं प्रदान की जाती हैं?
स्थानीय सिविल अस्पताल/सी.एच.सी./पी.एच.सी. के साथ स्वास्थ्य जांच और चिकित्सा सुविधाओं को जोड़ा जाएगा। तथापि, कार्यान्वयन करने वाला संगठन स्वाधार गृह के लिए एक अंशकालिक चिकित्सक को नियुक्त करेगा, जिसे सप्ताह में कम से कम एक बार आश्रय गृह का दौरा करना चाहिए ताकि कैदियों के सामान्य स्वास्थ्य को सुनिश्चित किया जा सके।
परामर्श सुविधा का क्या अर्थ है?
स्वाधार गृह योजना के तहत प्रस्तावित कर्मचारी जरूरतमंद महिलाओं को टेलीफोन परामर्श प्रदान करेंगे
क्या कोई आवेदन प्रक्रिया है?
मुझे नहीं पता, स्वाधार गृह कहाँ हैं?
निकटतम केंद्र की पहचान करने के लिए स्वाधार मानचित्र का उपयोग करें।
स्रोत और संदर्भ
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समाचार और अपडेट
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लाभार्थी
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- घरेलू हिंसा, पारिवारिक तनाव या कलह की शिकार होने वाली महिलाएं, जिन्हें अपना घर छोड़ना पड़ा हो और जिनके पास जीवननिर्वाह का कोई साधन न हो, एवं जिन्हें वैवाहिक विवादों के कारण उत्पीड़न से कोई विशेष सुरक्षा न हो और/या मुकदमेबाजी का सामना करना पड़ रहा हो, और
- मानव तस्करी की शिकार तथा छुड़ाई गई, या वेश्यालयों या अन्य ऐसे स्थानों से भागी हुई महिलाएं/ बालिकाएं, जहां उनका शोषण होता हो एवं एच.आई.वी./एड्स से प्रभावित महिलाएं जिन्हें कोई सामाजिक या आर्थिक सहायता प्राप्त न हो। हालांकि ऐसी महिलाओं/ बालिकाओं को उन क्षेत्रों में पहले उज्ज्वला योजना के अंतर्गत सहायता लेनी चाहिए जहां यह संचालित है।
- घरेलू हिंसा से प्रभावित महिलाएं एक वर्ष तक रह सकती हैं। अन्य श्रेणियों की महिलाओं के लिए अधिकतम ठहराव अवधि 3 वर्ष तक की हो सकती है। 55 वर्ष से अधिक आयु की वृद्ध महिलाओं को अधिकतम 5 वर्ष की अवधि के लिए समायोजित किया जा सकता है, जिसके पश्चात उन्हें वृद्धाश्रम या ऐसे ही संस्थानों में स्थानांतरित किया जाएगा।
उद्देश्य
- संकटग्रस्त, तथा किसी भी सामाजिक एवं आर्थिक सहायता से वंचित महिलाओं के लिए आवास, भोजन, वस्त्र, चिकित्सा उपचार एवं उनकी देखभाल की प्राथमिक आवश्यकताएं पूरी करना।
- दुर्भाग्यपूर्ण परिस्थितियों का सामना करने के कारण बाधित भावनात्मक सुदृढ़ता को पुनः प्राप्त करने में उन्हें सक्षम बनाना।
- परिवार/समाज में उनके पुनर्समायोजन के लिए उन्हें कदम उठाने हेतु सक्षम बनाने के लिए विधिक सहायता एवं मार्गदर्शन प्रदान करना।
- उनका आर्थिक एवं भावनात्मक पुनर्वास करना।
- संकटग्रस्त महिलाओं की विभिन्न आवश्यकताओं को समझने एवं उन्हें पूरा करने वाली एक सहायक प्रणाली के रूप में कार्य करना।
- उन्हें गरिमा एवं आत्मबल के साथ अपने जीवन को नए सिरे से शुरू करने में सक्षम बनाना।
कार्यनीतियां
- भोजन, वस्त्र, चिकित्सा सुविधाओं आदि के प्रावधान के साथ अस्थायी आवासीय सुविधा।
- ऐसी महिलाओं के आर्थिक पुनर्वास के लिए व्यावसायिक एवं कौशल उन्नयन प्रशिक्षण।
- परामर्श, जागरूकता सृजन एवं व्यवहार प्रशिक्षण।
- विधिक सहायता एवं मार्गदर्शन
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